भागीरथ भगवान साफ सफाई का रखो,, राधे हरदम ध्यान । हाथ मिलाने से करे ,कोरोना नुकसान ।। गंगा लेकर आ गए, भागीरथ भगवान। जल पी करके मिल रहा, सब को ही वरदान।। पूजा के हर काम में, लेते गंगा नीर । जल पावन ये तीर्थ का ,रचता है तकदीर।। प्रेम प्रीत व्यवहार ही, बना हिंद की शान । प्रेम बोल से ही बढे,जग में सब का मान।। माया के बल हो रहे ,दानव अंतर्ध्यान । लेकिन उनके सामने ,ईश्वर थे बलवान।। |
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